तूने कमाया है जो याहा तेरे मोक्ष में वो रंग लाएगा
बाँध के गठरी कर्मो की साथ याहा से जाएगा
तूने कमाया है जो याहा तेरे मोक्ष में वो रंग लाएगा
पाप पुण्ये का खेल निराला जिस के समज में आएगा
धरती पर रेह कर वो प्राणी जीवन अपना सजा गया
समय गुजरने पर ये पापी मन केवल पश्तायेगा
बाँध के गठरी कर्मो की साथ याहा से जाएगा
जब तक चलती साँसे तब तक सारे रिश्ते नाते है
सास निकलते ही खुद अपने मरघट तक पहोचाते है
सोच याहा से लेकर बंदे तू अपना काया जाएगा
बाँध के गठरी कर्मो की साथ याहा से जाएगा
इजत शोहरत रह जायेगी रेह जाएगा नाम रे
धन दोलत ये मेहल तुम्हारे आयेगे किस काम रे
कुंदन स्वर्ग रस्ता तेरा कर्म तेरा ही बनाएगा
बाँध के गठरी कर्मो की साथ याहा से जाएगा
What you have earned yaha will bring that color to your salvation
The bale of the dam will go with the karma from Yaha
What you have earned yaha will bring that color to your salvation
The game of sin and virtue is unique, who will understand
By living on the earth, that animal life became its punishment.
With the passage of time this sinful mind will only repent
The bale of the dam will go with the karma from Yaha
As long as there is a moving breath, all relationships are related
As soon as the mother-in-law comes out, she herself reaches her grave.
think yaha to man, you will be your body
The bale of the dam will go with the karma from Yaha
Ijat fame will remain reh jayega naam re
The wealth of this palace will come to you, what work will you do?
Your karma will make your way to kundan heaven
The bale of the dam will go with the karma from Yaha