बूटी हरि के नाम की सबको पिलाके पी ।
चितवन को चित के चोर से चित को चुराके पी ॥
अंतरा
पीने की तमन्ना है तो खुद मिटाके पी ।
ब्रम्हा ने चारो वेदों की पुस्तक बनाके पी ॥ बूटी ॥
शंकर ने अपने शीश पे गंगा चढ़ाके पी।
ठोकर से श्री राम ने पत्थर जगाके पी ।
बजरंग बली ने रावण की लंका जलाके पी ॥ बूटी ॥
पृथ्वी का भार शेष के सिर पर उठाके पी ।
बालि ने चोट बाण की सीने पर खाके पी ॥ बूटी ॥
अर्जुन ने ज्ञान गीता का अमृत बनाके पी ।
श्री जी बाबा ने भक्तों को भागवत सुनाके पी ॥ बूटी ॥
संतो ने ज्ञान सागर को गागर बनाके पी ।
भक्तों ने गुरु चरण रज मस्तक लगाके पी ॥ बूटी ॥
Make everyone drink the name of the herb Hari.
Drink chitwan by stealing the chit from the chit’s thief.
Antara
If you want to drink, then drink it by erasing yourself.
Brahma prepared the book of the four Vedas. Booty
Shankar drank by offering Ganga on his head.
Shri Ram woke up the stone and drank it from the stumbling block.
Bajrang Bali burnt Ravana’s Lanka and drank it. Booty
Carrying the weight of the earth on Shesha’s head, drink it.
Bali drank the hurt arrow on his chest. Booty
Arjuna made the nectar of the Gita of knowledge and drank it.
Shri Ji Baba narrated the Bhagwat to the devotees. Booty
The saints drank the ocean of knowledge as a gargar.
Devotees drank with Guru Charan Raj on their heads. Booty