कान्हा की अँखियों मे बसी राधा की सूरत

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कान्हा की अँखियों मे बसी राधा की सूरत है
राधा के मन मंदिर सजी कान्हा की मूरत है,
जन्मो के दोनों साथी रे जो डीप और बाती रे,
राधे कृष्णा श्री राधे बोल राधे कृष्णा श्री कृष्णा बोल,

ये तो सारा ब्रिज है जाने श्याम मिले गे अब बरसाने,
मटकी फोड़ी राधे की बहिया मरोड़े जी भर पहले सताये गे,
रूठे गीत मनाएगी,
कान्हा की अँखियों मे बसी राधा की सूरत है

निधि वन में जब दोनों घूमे पुष्प लता संग धरती झूमे
रास रचाये कभी वो स्वांग रचाये ये सिंधुरी शाम है,
प्रेम का दूजा नाम है,
कान्हा की अँखियों मे बसी राधा की सूरत है  

यमुना के तट जब बंसी भाजे कान्हा के संग राधा बिराजे,
प्यारे नजारे जिसे ये जग है निहारे,
उनकी दया जो पाते है भव सागर तर जाते है,
कान्हा की अँखियों मे बसी राधा की सूरत है

Radha’s face is in Kanha’s eyes.
Radha’s mind is an idol of Kanha adorning the temple,
The two companions of birth, Ray Joe Deep and Baati Ray,
Radhe Krishna Shree Radhe Bol Radhe Krishna Shree Krishna Bol,

This is the whole bridge, know Shyam will meet, now it will rain,
You will be tormented a whole time ago by twisting the pot of Radhe.
will celebrate rhetoric songs,
Radha’s face is in Kanha’s eyes.

When both of them roamed in the Nidhi forest, the earth swung with the flowers
Raas Rachaye sometime he pretends, this is Sindhuri evening,
The name of love is
Radha’s face is in Kanha’s eyes.

When Radha sits with Kanha on the banks of Yamuna,
Behold the lovely sights that this world has,
Those who receive His mercy, the ocean goes to the sea,
Radha’s face is in Kanha’s eyes.

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