स्वस्थ मन और स्वस्थ तन, जगत का है सबसे श्रेष्ठ धन। जितनी इर्षा, जितना गुस्सा, जितनी नेगेटिविटी दिमाग़ में होगी उतना मन अशांत रहेगा, जितना मन अशांत रहेगा उतना तन बेचैन रहेगा। असल में हमारी मानसिकता ही हमारी वास्तविकता है।
हम अपने मन के कार्यक्रमों के लेखक, निर्माता और निर्देशक हैं। सिर्फ सकारात्मक सोच रखने से ही ये जीवन हँसते हँसते कट जाना है। अच्छा बनने से बेहतर है हम सरल बनें, क्योंकि अच्छा सिर्फ आंखों तक पहुंचता है और सरल दिल तक।
॥ जय श्री राधे कृष्ण ॥
Healthy mind and healthy body are the best wealth in the world. The more jealousy, anger and negativity there is in the mind, the more restless the mind will be. The more restless the mind will be, the more restless the body will be. In fact, our mentality is our reality.
We are the writers, producers and directors of the programs in our minds. This life can be passed happily only by having positive thoughts. It is better to be simple than to be good, because good reaches only the eyes and the simple reaches the heart.
, Jai Shri Radhe Krishna ॥