जय बद्री जय तेरा धाम,
गाउ भजन मैं सुबहो शाम,
आज मिला है तेरी किरपा से मुझको सब का प्यार,
जय जय बद्री धाम,
बर्दी नाथ तेरी महिमा जग में अप्रम पार,
आज मिला है तेरी किरपा से हम को तेरा प्यार,
जय जय बद्री धाम,
चारो धाम में तेरे धाम का नाम है ऊंचा ईश्वर,
तुम हो जगत के पालनहारी जाने धरती अम्बर,
तेरी धरा पे भक्तो को मिलती है अभीराम,
जय जय बद्री धाम…
तूने सदा निज भक्तो को अपनाया हर मुश्किल में,
आज मुझे अपनों से मिला कर भर दी खुशियां दिल में,
प्राण रहे गे तन में जब तक लूंगा तेरा नाम,
जय जय बद्री धाम,
मेरी माँ दो नैना मेरे मुझको प्राणो से प्यारी,
माँ की सेवा में बदरीश्वर कटे उम्र अब सारी,
दो अब मुझे आशीष दो करू मैं तेरा सदा गुणगान,
जय जय बद्री धाम,
Jai Badri Jai Tera Dham,
I sing bhajans in the morning and evening,
Today I have got everyone’s love from your Kirpa,
Jai Jai Badri Dham,
Bardi nath teri glory is unmatched in the world,
Today we have got your love from your grace,
Jai Jai Badri Dham,
The name of your abode in the four dhams is the highest God,
You are the custodian of the world, know the earth Amber,
On your land, the devotees get Abhiram,
Jai Jai Badri Dham…
You have always adopted your devotees in every difficulty,
Today, meeting my loved ones filled me with happiness in my heart,
Life will remain in the body till I take your name,
Jai Jai Badri Dham,
My mother, Naina, I love me dearly,
Badrishwar cut his life in the service of his mother.
Bless me now, I will praise you forever,
Jai Jai Badri Dham,