अपनी आज़ादी को हम हरगिज़ मिटा सकते नहीं
सर कटा सकते हैं लेकिन, सर झुका सकते नहीं
हमने सदियों में ये आज़ादी की नेमत पाई है
सैकड़ों कुर्बानियां देकर ये दौलत पाई है
मुस्कुराकर खाई है सीनों पे अपने गोलियां
कितने वीरानों से गुज़रे हैं तो जन्नत पाई है
ख़ाक में हम अपनी इज़्ज़त को मिला सकते नहीं
अपनी आज़ादी…
क्या चलेगी ज़ुल्म की अहले वफ़ा के सामने
आ नहीं सकता कोई शोला हवा के सामने
लाख फ़ौजें ले के आए अम्न का दुश्मन कोई
रुक नहीं सकता हमारी एकता के सामने
हम वो पत्थर हैं जिसे दुश्मन हिला सकते नहीं
अपनी आज़ादी…
वक़्त की आवाज़ के हम साथ चलते जाएंगे
हर क़दम पर ज़िन्दगी का रुख बदलते जाएंगे
गर वतन में भी मिलेगा कोई गद्दारे वतन
अपनी ताकत से हम उसका सर कुचलते जाएंगे
एक धोखा खा चुके हैं और खा सकते नहीं
अपनी आज़ादी…
(वन्दे मातरम)
हम वतन के नौजवां हैं हमसे जो टकराएगा
वो हमारी ठोकरों से ख़ाक में मिल जाएगा
वक़्त के तूफ़ान में बह जाएंगे ज़ुल्मों-सितम
आसमां पर ये तिरंगा उम्र भर लहराएगा
जो सबक बापू ने सिखलाया भुला सकते नहीं
सर कटा सकते…अपनी आज़ादी को हम हरगिज़ मिटा सकते नहीं
सर कटा सकते हैं लेकिन, सर झुका सकते नहीं
फिल्म – लीडर (1964)
We can’t take away our freedom
You can cut your head but you can’t bow your head.
We have found the price of this freedom in centuries
Got this wealth by giving hundreds of sacrifices
Have eaten your bullets on your chest with a smile
How many deserters have passed through so have found paradise
We can’t mix our honor in the dust
Your freedom…
What will happen in front of the first Wafa of oppression?
No Shola can come in front of the wind
The enemy of peace came with lakhs of troops
Can’t stop in front of our unity
We are the stone which the enemy cannot move
Your freedom…
With the sound of time we will go along
At every step the attitude of life will change
You will also find a traitor’s homeland
With our might we will crush his head
Have cheated and can’t eat
Your freedom…
(I salute you, Mother)
We are the ninth of the country, who will collide with us
He will meet our dust in the dust
Atrocities will be swept away in the storm of time
This tricolor will fly in the sky for a lifetime
Can’t forget the lesson that Bapu taught
Head can be chopped off… we can’t erase our freedom at all
You can cut your head but you can’t bow your head.
Film – Leader (1964)