गुरु जी मैनूं ना विसरो
तुसी संगता नाल निभाईया गुरु जी मेनू ना विसरो
मैं दर तेरे ते आई आ गुरु जी मेनू ना विसरो
चंगे मंदे सोने कोजी सबना नु गल लांदे ओ
भूले भटके लाचारा नु सीधे रस्ते पांदे ओ
तुसी कर दिंदे रुशनाइया
गुरु जी मैनूं ना विसरो
सची शरदा लेके गुरु जी जो भी सजदा करदे ने
पुरियां कर देंदे ओह मुरादा जेह्ड़े भी हाजिर करदे ने
तू सी खैरा झोलियाँ पाइया,
गुरु जी मैनूं ना विसरो
तुसी हो जानी जान गुरु जी असी ते ओह्गन हारे आ
भूल चुक साडी माफ करो असी चरना तो बलिहारी आ
मैं दर ते वाजा लाईया गुरु जी मेनू ना विसरो
Guruji, don’t forget me
You played with the Sangat, Guruji, don’t forget me
I have come to your door, Guru Ji, do not forget me
Good and bad gold cozy you talk to everyone
You find the forgotten and the helpless in straight paths
You do the brightness
Guruji, don’t forget me
Guru Ji whoever prostrates with true Sharada
They fulfill the wishes of those who attend
Tu Si Khaira Jholiyan Paiya,
Guruji, don’t forget me
You know, master, we and Ohgan are losers
Forgive us our mistakes, we are sacrificed to graze
I have called at the door, Guruji, don’t forget me