मेरे बाबा ने बाँधी कमाल पगड़ी,
थोड़ी केसरियां थोड़ी सी लाल पगड़ी,
लाल पगड़ी कमाल पगड़ी,
पचरंगी बाबा की पगड़ी रंगाई,
सूरज की किरणे है इसमें समाई,
तेरे भक्तो में फेके है जाल पगड़ी,
थोड़ी केसरियां थोड़ी सी लाल पगड़ी,
मोर पंख तेरी पगड़ी में सोहे,
जिस पे तिलंगी मन सबका मोहे,
कही कर देना जादू संभाल पगड़ी,
थोड़ी केसरियां थोड़ी सी लाल पगड़ी,
पगड़ी से पल भर भी आंखे हटे न ,
अर्श किसी की वैरी नज़रे लगे न ,
आज हमको भी करदे निहाल पगड़ी,
थोड़ी केसरियां थोड़ी सी लाल पगड़ी,
My father tied a wonderful turban,
A little saffron, a little red turban,
red turban awesome turban,
Pacharangi Baba’s turban dyed,
The rays of the sun are absorbed in it,
Turbans have been thrown in your devotees.
A little saffron, a little red turban,
Peacock feathers sleep in your turban,
On which Tilangi’s mind attracts everyone,
Do some magic handle turban,
A little saffron, a little red turban,
Do not remove your eyes from the turban even for a moment,
Arsh does not look like anyone’s hater,
Today we too should have a beautiful turban,
A little saffron, a little red turban,