साईं साईं जपो ध्यान तेरा धरु ,
तुम ही मन में वसे मेरे साईं नाथ जी,
साईं साईं जपो ध्यान तेरा धरु
चरणों में तेरे सुबह शाम हो होठो पे तेरा ही बस नाम हो
पूजा तुम्हारी मेरा काम हो
मेरे घर के आगे तेरा धाम हो
दर्शन तेरा करू ध्यान तेरा धरु तुम ही मन में वसे मेरे साईं नाथ जी
साईं साईं जपो ध्यान तेरा धरु
जब सुबह को मेरी आंखे खुले बाबा मंदिर में घंटे तेरे वजे
चेह्के अंगना में बाबा तेरे बुलबुले मेरे कानो में उनकी आवाज सुने
तुम को नमन करू ध्यान तेरा धरु
तुम ही मन में वसे मेरे साईं नाथ जी
साईं साईं जपो ध्यान तेरा धरु
सिर ये तेरे दर पे झुकाता रहू
दीप तेरे नाम का जलाता रहू मैं
दर्श तेरा पाने रोज आता रहू गुण तेरा निष् दिन मैं गाता रहू
नादान वीरान को भगती का ज्ञान दो
तुम ही मन में वसे में साईं नाथ जी
साईं साईं जपो ध्यान तेरा धरु
Chant Sai Sai, meditate on your earth,
You are in my mind, my Sai Nath ji,
sai sai chant meditation tera dharu
May your morning and evening be in your feet, your only name is on your lips.
worship your my work
Your abode is in front of my house
Do darshan, meditate on your shoulders, you are in my mind, my Sai Nath ji.
sai sai chant meditation tera dharu
When my eyes opened in the morning, the hour in the Baba temple was for you.
Baba tere bubbles in chehke angana listen to his voice in my ears
bow down to you
You are in my mind, my Sai Nath ji
sai sai chant meditation tera dharu
Keep bowing my head at your rate
I will keep lighting the lamp of your name
Darshana will come every day to get you, I will keep singing your eternal days.
Give the knowledge of Bhagti to the innocent deserter
Sai Nath ji in your heart
sai sai chant meditation tera dharu