जय श्री राधे कृष्ण राधे राधे ये परमात्मा ने मुझ पर कृपा की है। मुझे दो तीन दिन से राधे राधे की रट लगी हुई थी। फिर मै राधे रानी से प्रार्थना करने लगीं कि हे राधे मेरे अंदर तुम्हारे नाम की ध्वनि अपने आप उजागर हो रही है। हे राधे मैंने तुम्हें ध्याया भी नहीं है मुझमें ऐसे प्रभु प्रेम दिखाई भी नहीं देता है। मुझमें खोट बहुत है ।मेरा ये हृदय पवित्र भी नहीं है। फिर भी हे राधे तुम मुझे बार बार अन्तर्मन में अहसास पैदा करती हो। हे राधे मुझे तुम्हारे गुणों का गुणगान भी करना नहीं आता है। बस मैं तो तुम्हें श्री राम राम राम ध्याती तब श्री राधे राधे राधे राधे जय श्री राधे कृष्ण ध्याने लगीं हूं ।हे राधे तुम बहुत भोली हो मै कपटी और कुटिल हूँ। हे राधे मुझमें अनेक दोस भरे हुए हैं। हे राधे तुम प्रेम हो मुझ दासी का तुम को प्रणाम है जय श्री राम
अनीता गर्ग
Jai Shri Radhe Krishna Radhe Radhe Ye God has blessed me. I was engaged in the rut of Radhe Radhe for two or three days. Then I started praying to Radhe Rani that O Radhe, the sound of your name is being revealed in me automatically. O Radhe, I have not even meditated on you, I do not even see such love of God. There is a lot of fault in me. This heart of mine is not even pure. Still, O Radhe, you make me feel in my heart again and again. O Radhe, I do not even know how to praise your virtues. Only I have started meditating on you Shri Ram Ram Ram, then Shri Radhe Radhe Radhe, Jai Shri Radhe Krishna. Oh Radhe, you are very naive, I am insidious and crooked. O Radhe, I am filled with many doshas. O Radhe you are love, I salute you maid, Jai Shri Ram Anita Garg