धरती माता की संतान चलो चले कुंभ महान,
पापो से मुक्ति मिल जाती कर तिरवेनी में अस्नान,
तीर्थ राज प्राग की महिमा बड़ी महान,
के सब का है इहवाँ चलो सब कुंभ प्रयाग,
जय हो तीर्थ राज प्रयाग,
सब के बिगड़े बना दे भाग,
तेरी जय हो तीर्थ राज तेरी जय हो प्राग राज,
यह लेटे हनुमत की महिमा बड़ी न्यारी है,
हर लेते वेहनी माधव विपदा सारी है,
त्रिवेणी संगम की लेहरे लहर लहर लहराए,
मनोकामना पुराण करते संत महंत हमारे,
लाभ उठा कर सवार लो तुम निज परलोक धाम,
के सब का है इहवाँ चलो सब कुंभ प्रयाग,
जय हो तीर्थ राज प्रयाग,
गंगा यमुना सरस्वस्ती का यहाँ संगम है,
मनोकामना पूरन होना वह सुगम है,
प्रगट देवगन कुंभ पे हो कर किरपा कर देते है,
संकट हरले सबके मुख पर मुश्काने लाते है,
श्रद्धा भाव से कुंभ में डुबकी लगा ले सुबहो शाम,
के सब का है इहवाँ चलो सब कुंभ प्रयाग,
जय हो तीर्थ राज प्रयाग,
The children of Mother Earth, let’s go to the great Kumbh,
One gets freedom from sins and bathes in Tirveni,
The glory of Tirtha Raj Prague is great,
Let’s all belong here, let’s all go to Kumbh Prayag,
Jai Ho Tirtha Raj Prayag,
Make everyone’s part spoiled,
Teri Jai Ho Tirtha Raj Teri Jai Ho Prague Raj,
The glory of Hanumant lying down is very beautiful.
Madhav’s calamity is all he takes,
Wave the wave of the Triveni Sangam,
Our saint Mahant doing Manokamna Purana,
Take advantage and ride on your own heavenly abode,
Let’s all belong here, let’s all go to Kumbh Prayag,
Jai Ho Tirtha Raj Prayag,
The confluence of Ganga Yamuna Saraswati is here,
It is easy to have a wish fulfilled,
Revealed Devgan makes a splash on the Kumbh,
The crisis brings a smile on everyone’s face,
Take a dip in Kumbh with reverence in the morning and evening,
Let’s all belong here, let’s all go to Kumbh Prayag,
Jai Ho Tirtha Raj Prayag,