गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
दो चार की फिर तो बात ही कया संसार उसी का हो जाये,
गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
प्रलाह्द तो छोटा बालक था पर प्यार किया परमेश्वर से,
संसार का हो कर क्या जीना इक बार ही उसी का हो जाये,
दो चार की फिर तो बात ही कया संसार उसी का हो जाये,
गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
शबरी ने कौन सा यगये किया गणका ने कौन सा वेद पड़ा,
जिस में शल कपट का लेश नहीं करतार उसी का हो जाये,
दो चार की फिर तो बात ही कया संसार उसी का हो जाये,
गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
रावण ने राम से वैर किया अब तक जलाया जाता है,
पर भगत बभीषन शरण पड़ा घर बार उसी का हो जाये,
दो चार की फिर तो बात ही कया संसार उसी का हो जाये,
गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
माया के दीवानो शिक्षा लो तुम प्रेम दीवानी मीरा से,
कर प्रेम पराये गुरु से बेडा पार उसी का हो जाये,
दो चार की फिर तो बात ही कया संसार उसी का हो जाये,
गुरूजी तुम्हारे चरणों में जब प्यार किसी का हो जाये,
Guruji, when someone’s love falls at your feet,
Then what about two or four, the world should be his?
Guruji, when someone’s love falls at your feet,
Prahlad was a small child but loved God,
Being of the world, what should be the life of him only once,
Then what about two or four, the world should be his?
Guruji, when someone’s love falls at your feet,
Which Yagya did Shabari do, which Veda did Ganaka read?
The one in whom the shul does not bear the trace of deceit, it may belong to him,
Then what about two or four, the world should be his?
Guruji, when someone’s love falls at your feet,
Ravana hated Ram till now it is burnt,
But Bhagat Babhishan had to take refuge in his house,
Then what about two or four, the world should be his?
Guruji, when someone’s love falls at your feet,
You lovers of Maya take education from Meera, a lover of love.
Let love be yours beyond the guru,
Then what is the matter of two or four, then the world should be his,
Guruji, when someone’s love falls at your feet,