जब जब घर में कोई संकट होता है,
जब जब तेरा लाल कोई रोटा है,
पल में मेरी दादी दौड़ी आई,
लहर लहर लहराई माँ की चुनार लेहरी,
दादी से बढ़ के कोई नहीं,
वेदो पुराणों ने बात कही,
मन में जो तेरे कह दे यहाँ इस में समाया सारा यहाँ,
होती है उसके दर पे सुन वाई,
लहर लहर लहराई माँ की चुनार लेहरी,
भक्तो के खातिर प्रगति है माँ,
बस एक बार तू सिर को झुका,.
तुझको शरण में ये ले लेगी,
मन चाहा वर तुझको माँ देदे गी,
बन के रहे गी माँ तेरी परशाई,
लहर लहर लहराई माँ की चुनार लेहरी,
श्याम ने जब से माना तुझे बेटे के जैसे पाला मुझे,
दर तेरा छोड़ के जाना नहीं,
दूजा मेरा अब ठिकाना नहीं,
मैया को मेरे मन को है बाई,
लहर लहर लहराई माँ की चुनार लेहरी,
Whenever there is a crisis in the house,
Whenever your red is a rota,
In a moment my grandmother came running,
Lahar Lahar Lahari Maa Ki Chunar Lehri,
No one is bigger than Grandma,
The Vedas Puranas said,
Whatever you say in your mind, here the whole is absorbed in it,
is heard at his rate,
Lahar Lahar Lahari Maa Ki Chunar Lehri,
Mother is progress for the sake of devotees
Just once, you bow your head.
She will take you in shelter,
If you wished, your mother will give you,
You have become your mother,
Lahar Lahar Lahari Maa Ki Chunar Lehri,
Ever since Shyam considered you raised me like a son,
Do not leave your rate,
Duza is not my place now,
Maya has my mind, bye
Lahar Lahar Lahari Maa Ki Chunar Lehri,