सावरे आजा रे यमुना किनारे राधा पुकारे
बंसी सुना जा रे
तुझ बिन मोहन कैसे माखन का भोग लगाऊ
यह मनमोहन सावरिया मैं किस संग रास रचाऊ
यह तो बता जा रे सावरे आजा रे……
यह काली नाग नथिया यशोदा के छल बलिया
गोकुल के कृष्ण कन्हिया नंदबाबा के छल बलिया
यह तो बता जा रे सावरे आजा रे……
कुब्जा संग प्रीत लगा के हरी मुझको भूल ना जाना
मैं दासी जनम जनम की मेरे भी कष्ट मिटा जाना
कष्ट मिटा जा रे सावरे आजा रे…..
Save Radha on the banks of Yamuna
bansi sura ja re
Tujh bin Mohan, how can I enjoy butter?
With whom will I make this Manmohan Saawariya
Tell this to me, Re Savare Aaja Re……
This Kali Nag Nathiya Yashoda’s deceit
Gokul’s Krishna Kanhiya Nandbaba’s deceit Ballia
Tell this to me, Re Savare Aaja Re……
I felt love with Kubja, don’t forget me
I am a maid of birth to erase my sufferings.
May the pain be erased, Savare aaja re…..