मेरे गुरु महाराज दी किरपा बड़ी
मेरे गुरु महाराज दी किरपा बड़ी, मेरी राखियां किती हर घडी, मैनु अपना सेवक बना लिया, राह डिगे नु आप
मेरे गुरु महाराज दी किरपा बड़ी, मेरी राखियां किती हर घडी, मैनु अपना सेवक बना लिया, राह डिगे नु आप
संत परम हितकारी, जगत माहि संत परम हितकारी | प्रभु पद प्रगट करावे प्रीती, भरम मिटावे भारी | परम कृपालु
मेरे राम राये,तू संत का,संत तेरे, तेरे सेवक को भो कीशु नाही जम नही आवे नेड़े, मेरे राम राये,तू संत
सजा दो घर को मंदिर सा गुरु भगवन आये है पखारो इनके चरणों को बहा कर प्रेम की गंगा, निहारो
गुरुवार आप की ही किरपा से मेरा परिवार है, बेसहारो का सहारा तेरा दरबार है, गुरुवार आप की ही किरपा
सांस आती है सांस जाती है, कौन देता है ना है तूझकौ खबर, सांस के रूकने से पहले तो पता
दे दर्शन गुरु मेरे रुहां पुकार दियां दे दर्शन गुरु मेरे.संगता पुकार दिया | संगता दर्शन करने नु आइया, प्रेम
हस के गुजारी जा ताने सहारी जा, गुरा जी दा नाम लेके, जिंदगी गुजारी जा | भरेया मेला चार दीना