
खाटू की माटी का तिलक लगा ले,
खाटू की माटी का तिलक लगा ले, ये गांव है श्याम धनि का अपनी किस्मत चमकाले, खाटू की माटी का

खाटू की माटी का तिलक लगा ले, ये गांव है श्याम धनि का अपनी किस्मत चमकाले, खाटू की माटी का

आया फागण का मस्त महीना. ऐसी मस्ती जो देखि कभी न, उड़े उड़े रे अबीर और रंग गुलाल रे, खाटू

नैया है मझधार में श्याम इसे पार लगा जाऊ, हो नीले के असवार दयालु जल्दी आ जाऊ, आ जाऊ प्रभु

करदो री सखी मेरा शृंगार बनु मैं सजनी सँवारे की, अपने गहनों पर लिख वाउ श्याम नाम, करदो री सखी

तेरी आशिक़ी में जोगी बन कर दर दर के ठोकर खाता हु, बस एक नजर देख मुझे तुझे कब से

यो कुन सिंणगारयो यो कुन सिंणगारयो, सांवरिये ने बनड़ो बना दियो यो कुन सिंणगारयो, कठे से फूलडा ल्याया, ये कुन

जब तक तू मेरा है खुशियों का सवेरा है, जीवन में अगर तू नहीं हर और अँधेरा है, क्या खोया

श्याम रखते थे खबर तुम बेखबर क्यों हो गए मेरे ये आंसू भी तुमपे बेअसर क्यों हो गए श्याम रखते

चाहे छोड़ जाए सब साथ, मगर तेरा साथ नहीं छूटे, चाहे गम की हो बरसात, मगर तेरा साथ नहीं छूटे,

मेरा श्याम बड़ा दातार दातार भर भर के खजाने बाँट रेहा यो देव बड़ा है दिल वाला किस्मत का खोल