सोलह सिद्धिया…
1. वाक् सिद्धि : जो भी वचन बोले जाए वे व्यवहार में पूर्ण हो, वह वचन कभी व्यर्थ न जाये,
1. वाक् सिद्धि : जो भी वचन बोले जाए वे व्यवहार में पूर्ण हो, वह वचन कभी व्यर्थ न जाये,
।।श्रीहरिः।। नामजप से जो लाभ होता है वह वर्णनातीत है।मुझे लगता है शास्त्रों और संतों ने जो नाम महिमा का
. एक घडी आधी घडी आधी में पुनि आध !तुलसी चरचा राम की हरै कोटि अपराध !!1 घड़ी = 24
यह सृष्टि चौरासी लाख योनियों का वन है, जिसमें विधाता ने हमें रखा है, जो प्रभु नाम रूपी आश्रय को
परम पूज्य श्रीसदगुरूदेव भगवान जी की असीम कृपा एवं उनके अमोघ आशीर्वाद से प्राप्त सुबोध के आधार पर, उन्हीं की
परम पूज्य श्रीसदगुरूदेव भगवान जी की असीम कृपा एवं उनके अमोघ आशीर्वाद से प्राप्त सुबोध के आधार पर, उन्हीं की
परम पूज्य श्रीसदगुरूदेव भगवान जी की असीम कृपा एवं उनके अमोघ आशीर्वाद से प्राप्त सुबोध के आधार पर, उन्हीं की
‘श्री राम जय राम जय जय राम’ – यह सात शब्दों वाला तारक मंत्र है। साधारण से दिखने वाले इस
णमो अरिहंताणं- मैं अरिहंतों को नमन करता हूँ। णमो सिद्धाणं- मैं सिद्धों को नमन करता हूँ। णमो आयरियाणं- मैं आचार्यो
शिव का एक भीषण शूल जिसे अर्जुन ने तपस्या करके प्राप्त किया था। महाभारत का युद्ध हुआ, उसमें भगवान् शंकर