जय हो मैया काली तु ही शेरावाली
भक्त सब दर आवे बनके सवाली , जय हो मैया काली, तु ही शेरोवाली, ब्रह्मा ,विष्णु , शिव भी तेरा
भक्त सब दर आवे बनके सवाली , जय हो मैया काली, तु ही शेरोवाली, ब्रह्मा ,विष्णु , शिव भी तेरा
मैं दर तेरे ते जावांगा,गल लग के खिचके लिअवागा ॥ सारी दुनिया नु जो लगे ॥,लगेगी बड़ी कमाल नी माँ,
आया दुनिया से होके उदास सुनी मेरी माई कलिका, माई मेरी कलिका पुकारे तेरा बालका, लाखो आये सवाली दर पे
जय जय जय माता सरस्वती, जयसुबा दाइिनी वरदायिनी हंस वाहिनी पद्मा आसाना माता, वीना पुस्तक धारिणी जय सुबा दाइिनी वरदायिनी…
माँ ज्योत वाली है माँ लाटा वाली है ममता मई माँ मेरी भोली भाली है, मैया सिंह पे बैठ के
आरती करूँ माँ जगदम्बा की, माँ सरस्वती, लक्ष्मी अम्बा की॥ करती है जो शेर सवारी। लाल वसन, कर गदा, कटारी॥
माँ मुराद कर पूरी आस रहे ना अधूरी, तेरे दर से जाऊंगा झोली भर के, शेरोवाली माता देख ले, आया
नवरात्रि में विशेष है महागौरी का ध्यान। शिव की शक्ति देती हो अष्टमी को वरदान॥ मन अपना एकाग्र कर नन्दीश्वर
नील गंगन तक जिसका झंडा लहर लहर लहरता है, झंडे वाली माता है वो झंदेवाली माता है, इस झंडे को
मिल गया दर तेरा शेरावाली मैया बेडा पार करो बेडा पार करो इस जगत ने मुझे परिशान किया साथ अपनो