तेरा शुक्र मनाऊ मैं दातिए
तेरा शुक्र मनाऊ मैं दातिए हर सांस मेरी किरपा है तेरी तुझे हर पल ध्याऊ मैं तेरा शुक्र मनाऊ मैं
तेरा शुक्र मनाऊ मैं दातिए हर सांस मेरी किरपा है तेरी तुझे हर पल ध्याऊ मैं तेरा शुक्र मनाऊ मैं
ऐसा प्यार बहा दे मैया, चरणों से लग जाऊ मैं । सब अंधकार मिटा दे मैया, दर्श तेरा कर पाऊं
मईया तेरे दर पे आउगी, होते वाली चुनरी चड़ाउ गी, हलवा पूड़ी चने का मैया भोग लगाउगी, मईया तेरे दर
सबके दुख अपने अपने है, सबने देखे कुछ सपने है, सपने सबके साकार करो, माँ बच्चों का उद्धार करो, सबके
रख भरोसा दाती ते,तेरी बेडी पार लगाये गी, दिल दी एक आवाज ते दाती दोडी दोडी आये गी, रख भरोसा
कैसा समय है ये दुःख दाई बिछड़ रहे आपस में भाई, खोज रही भाई को बेहना तरस रही बेटे को
सुंदर रूप अनोखा तेरा अद्भुत है शिंगार, लाल ध्वजा दर पे लहराये पूजे कुल संसार शेरोवाली की गूंजे जय जय
कैला मइया के भवन में घुटुअन खेले लांगुरिया, खेले लांगुरिया के घुटुअन खेले लांगुरिया कैला मइया के भवन में सरपट
शेरावाली के दर पे आते रहे गे मन की मुरादे पाते रहे गे ममता मई के दर्शन करेगे श्रदा के
माँ मनसा देवी दे चरनी सूखा दा सागर वगे, चन तारियाँ रोशन किता मंदिर सोना सजे, माँ मनसा देवी दे