बाबा कुण्डलपुर वाले की भक्ति करो झूम झूम के
बाबा कुण्डलपुर वाले की भक्ति करो झूम झूम के झूम झूम के, घूम घूम के, घूम घूम के, झूम झूम
बाबा कुण्डलपुर वाले की भक्ति करो झूम झूम के झूम झूम के, घूम घूम के, घूम घूम के, झूम झूम
स्थापना दिवस भैरव देव का, प्रतिस्ठा दिन है भैरव देव का शुभ दिन ये बना त्योहार , नाकोंडा भेरू देव
हारे के सहारे आजा, तेरा दास पुकारे आजा, हम तो खड़े तेरे द्वार, सुन ले करुण पुकार, हारे के सहारे
आगाह अपनी मौत से कोई बशर नहीं, सामान सो बरस का है, पल की खबर नहीं। सज धज कर जिस
हरपल दर्शन री आस टूट्या कर्मारा बन्धन है, थाने देख्या लागे आज घुल ग्या केसर चन्दन है ये किरपा री
मैं तो तीरथ करने आई बाहुबली के चरणों में आई, मेरा बेड़ा लगा दो पार प्रभु जी आई हूं तेरे
तर्ज- आदमी मुसाफिर है नाकोड़ा के मंदिर में ,भक्त जो भी आता है भेरूजी से रिश्ता वो , पल में
जय जय भैरवनाथ, हर तुफां का तु किनारा हैं, जय जय भैरवनाथ, जय जय भैरवनाथ, हर तुफां का तु किनारा
भक्ति में शबरी ने श्रीराम को पाया था भक्ति में प्रहलाद ने श्री कृष्ण को पाया था कौन सी ऐसी
चलो रे चलो सब चलो रे तिजारा देखंगे अनुपम भब्य नजारा, मिले संत समागम और प्रभु का भजन, पुलक सागर