
एसो री छबीलो मेरो श्याम एसो रे रंगीलो मेरो श्याम,
मैं ना ना करती हार गई रंग डार गया, छबीलो रंग डार गयो रंगेलो रंग डार गयो मैं ना ना

मैं ना ना करती हार गई रंग डार गया, छबीलो रंग डार गयो रंगेलो रंग डार गयो मैं ना ना

कितनी प्यारी है झांकी तेरी तुम को भर के नैनं देख लू, खुदब खुद चैन आ जाएगा तुमको भर के

जादू भरी है वनवारी श्याम मुरली तुम्हारी, श्याम मुरली तुम्हारी श्याम मुरली तुम्हारी, जादू भरी है वनवारी श्याम मुरली तुम्हारी,

किसे दी गवाची मुंदरी, किसे दी गवाची फुलकारी मेरा ता गवाचेया दिल, जेहडा ले गया श्याम मुरारी वृन्दावन की गलिओं

कृष्णा गोविन्द गोपाल गाते चलो अपनी मुक्ति का साधन बनाते चलो दुःख में तड़पो नहीं, सुख में फूलो नहीं, प्राण

सांवरिया थारा नाम हजार कैसे लिखू कु कु पतरी कु कु पतरी रे श्याम प्रेम पतरी घनश्यामी थारा नाम हजार

दे बंदगी दे बंदगी , तुझे पाने का, सरल सबसे उपाय , जिससे तू मिल जाए, बने जिंदगी , दे

थारी दासी मीराबाई मोहन था सु प्रीत लगाई, भर कर दूध कटोरो लाइ पी ले कानुड़ा, कुर्ला दातुन से कर

साधो मैं बैरागन हरी की, साधो मैं बैरागन हरी की, साधो मैं बैरागन हरी की, भूषण वस्त्र सभी हम त्यागे

दया कर दान भगती का हमे परमातमा देना दया करना हमारी आत्मा में शुद्ध ता देना दया कर दान भगती