वृन्दावन की कुञ्ज गली में राधे राधे गाउंगी
वृन्दावन की कुञ्ज गली में मैं राधे राधे गाउंगी, मैं तो श्यामा श्यामा गाउंगी, पहले मैं बरसाने जाऊ,श्याम श्यामा के
वृन्दावन की कुञ्ज गली में मैं राधे राधे गाउंगी, मैं तो श्यामा श्यामा गाउंगी, पहले मैं बरसाने जाऊ,श्याम श्यामा के
पनघट पर खड़ी अकेली रस्ता देखु भाई का, इन्तजार करती मेरी राखी कान्हा तेरी कलाही का, आजा रे कान्हा आजा
राधाजी के पायल के घुंघरू नृत्य करते बिखर गये, श्यामा जी के पायल के घुंघरू नृत्य करते बिखर गये, नव
मेरी बस इक खवाइश है चाहे दुनिया बदल जाये, की सिर मेरा हो दर तेरा और दम निकल जाये, प्रभु
मेरे बांके बिहारी सुनो मेरी पुकार, तेरे दर पे लगाता हु कब से गुहार, जख्मी दिल क्यों तूने तोडा, हाय
सांवरी सूरत जो निराली है चाल टेडी बड़ी मतवाली है उनकी बाकी अदा का हर कोई दीवाना है छवि तन
अरे मेरे भईया रघुवीर भात सवेरे लइयो मेरे माथे का टीका लइयो टीके पे रतन जड़ियों गले की लइयो जंजीर
ये जो मेहका मेहका सरूर है तेरे इश्क़ का प्यारे कसूर है, तूने हमे भी आशिक़ बना दियां तूने हमे
अरे सुन मोहन प्यारे रे दुखड़े हमारे, हर ले संकट सारे हमारे ओ मोहन मेरे सांवरियां, प्यारे मोहन सांवरिया सलोने
कान्हा बंसी मधुर भजाऐ राधा की मन प्रीत जगाई, सारे वंदन को तोड़ के राधे यमुना तट फिर से चली