मैं गिरते गिरते सम्बल गया
मेरा दिल दर्शन को मचल गया, मैं घर से सफर को निकल गया, मेरे मुँह से साई निकल गया, मैं
मेरा दिल दर्शन को मचल गया, मैं घर से सफर को निकल गया, मेरे मुँह से साई निकल गया, मैं
है खिलौना जिंदगी को रब निभाता जाएगा, हाथ में चाभी लिये साई धूमाता जाएगा, है खिलौना जिंदगी को रब निभाता
ये दुनिया ये दुनिया, ये दुनिया सारी नशवर है यहाँ से सबको जाना है, रिश्ते नाते सब छूटे इक साई
तेरे कदमों की अहाहट का मुझे इंतज़ार है, कैसे कहु बाबा की तुमसे कितना प्यार है, श्रदा सुमन से अपना
साई जादू भरा है तेरी उधि में, हर करिश्मा किया है तेरी उधि ने, हर कर्म है किया सब को
मेरे साई मेरी किस्मत को उजागर कर दे, मेरे बाबा मेरी किस्मत को उजागर कर दे, मेरी चादर को मेरे
किसी ने ना जाना किसी ने ना जाना, भेद मेरे साई जी का किसी ने न जाना, कौन है क्या
मेरे खुदा तू ही बता जाऊ कहा मैं तेरे सिवा, मैं कुछ नहीं तू ही तू है, तू ही तू
साई हो दीदार तेरा तनु शूकर मनावा गा, चाहे छोड़नी दुनिया पवे मैं छोड़ के आवागा, साई हो दीदार तेरा
सेवा कर हे प्राणी साईं का हुकम है यही, पूजा है यही सच्ची साईं का हुकम है यही, मत ये