
गुरु भक्ति
सहजो की कुटिया के बाहर प्रभु प्रकट हुए और बोले हम स्वयं चलकर आऐ हैं तुम्हे हर्ष नही? सहजो ने

सहजो की कुटिया के बाहर प्रभु प्रकट हुए और बोले हम स्वयं चलकर आऐ हैं तुम्हे हर्ष नही? सहजो ने

लोकप्रिय कथा : ब्रज के मन्दिरों में एक अनोखी परंपरा है। जब वहां कोई भक्त मन्दिर के विग्रह के लिए

यह प्रसंग एक राजा की जिन्दगी का है, उसका नाम था राजा पीपा। उसने दुनिया में जो कुछ इन्सान पाना

“” काशी में गंगा के तट पर एक संत का आश्रम था। एक दिन उनके एक शिष्य ने पूछा… “गुरुवर!

हल खींचते समय यदि कोई बैल गोबर या मूत्र करने की स्थिति में होता था तो किसान कुछ देर के

पति पत्नी के बीच प्रेम क्या होता है कोई विजेंद्र सिंह राठौड़ से सीखे ! यहतस्वीर अजेमर के निवासी विजेंद्र

विवाह की कामना लेकर नारद जी वापस बैकुंठ गए और विष्णुजी से खुद को रूपवान बनाने की विनती की। श्रीहरि

( परलोक में देवलोक की प्राप्ति देविक मनोवृतियों के निर्माण एवं धारण करने पर ही होती है और आत्मा का

अभिरूप कपिल कौशाम्बीके राजपुरोहितका पुत्र था और आचार्य इन्द्रदत्तके पास अध्ययन करने श्रावस्ती आया था। आचार्यने उसके भोजनकी व्यवस्था नगरसेठके

एक विचारशीला भगवद्भक्ता नारीका एकमात्र पुत्र मर गया। पति घरसे बाहर गये थे। उस नारीने पुत्रका शव ढक दिया और