
तेरा लल्ला ने इतनो क्यों यशोदा सिर पे चढ़ावे रे
तेरा लल्ला ने इतनो क्यों यशोदा सिर पे चढ़ावे रे, लाड लाड में कही कनहियो भीगड़ न जावे रे, तेरा

तेरा लल्ला ने इतनो क्यों यशोदा सिर पे चढ़ावे रे, लाड लाड में कही कनहियो भीगड़ न जावे रे, तेरा

ओ छलियाँ श्याम सलोने आखियो से मत कर टोने, मैं पास में तेरे आउ नहीं माखन तुझे खिलाऊ, तू पल

ऑंखों नि जा के श्याम नू तेरी कमली आवाजा मारे, श्याम बिना मैं रह न सका, दिल दी गल कोई

श्याम चंदा है श्यामा चकोरी, बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी, मोर मुकुट पीतांबर धरैइयां, मुरलीधर है यह कृष्ण कन्हैया,

सुनों सुनों री सुनों सखी, मैं चली वृंदावन धाम , यमुना जल स्नान करुगी कुंजों में विश्राम , हरी निकुंज

गली गली में मच गया शोर आया देखो माखन चोर, माखन माँ यशोदा छुपावे कान्हा ढूंढ ढूंढ को खावे, गली

मोर मुकटियाँ वाले कर ले कितनी सीना चोरी, कान्हा न दूंगी मैं मुरलियाँ तोरी बंसी बिन मैं आधा राधा तोहे

मेरी गली विच आ श्यामा राता हो जु चाननियाँ , इक वारि फेरा पा श्यामा राता हो जु चाननियाँ

हुन ना तोड़ी श्यामा वे, मेरे प्रेम वाली डोर, ओ मेरे प्रेम वाली डोर,ओ साड़ी प्रेम वाली डोर, हुन ना

जन्म उत्सव् हम आप का आज मनायेगे, झूमे गे नाचे गे और खुशियाँ मनायेगे, कन्हियाँ हैप्पी बर्थडे, चन्दन की चोंकी