
देखो प्यारे श्याम का ये दरबार है
देखो प्यारे श्याम का ये दरबार है, हर भगतो का होता बेडा पार है, हारे का साथी ये लखदातार है,

देखो प्यारे श्याम का ये दरबार है, हर भगतो का होता बेडा पार है, हारे का साथी ये लखदातार है,

सँवारे दया करो मेरी फर्याद सुनो, गले से लगा के बाबा मुझे आबाद करो, श्याम तुम मेरा हाथ थाम लो,

तेरे दरबार में इस सिर का झुकना भी जरुरी था, मेरी आँखों से आंसू का टपकना भी जरुरी था, बताओ

जो सेवक महारे श्याम धनि की सेवा रोज करे, जात पात ना पूछे बाबो वो तो मौज करे, दर पे

((तर्ज -जब कोई नहीं आता मेरे काम)) जब कोई नहीं आता मेरे काम, मेरे लब पे आता है श्याम नाम,

साँची साँची बोल संवारा माहरे घरा कद आवे गो, पलके बिछाया बैठा मैं तो कद सु दर्श दिखावे गो, साँची

मस्ती की होवे बरसात सांवरिया तेरे मंदिर में नाचेंगे आज साड़ी रात ओ श्याम तेरे मंदिर में आता है फागुन

बाबा थारो प्यार खाटू खींच लेयावे रे, ग्यारस की ग्यारस दिल मेरो रुक नहीं पावे रे, बाबा थारो प्यार खाटू

तेरा कैसे कर्ज चुकाऊ कितने एहसान गिनाऊ, तू देकर भूलने वाला मै हर पल हाथ फैलाऊं इक पूरी मांग हुई

बाबा कीर्तन में आवो भगता से हस बतलाओ, आंख्या उडीके थाने सावरा, आवे जो खाटू वालो मनड़ो हरषायो जी, बाबा