निधिवन का रहस्य, क्या सच में रास रचाने आते हैं रात में राधा कृष्ण?
कहा जाता है निधिवन के सारी लताये गोपियाँ है जो एक दूसरे कि बाहों में बाहें डाले खड़ी है जब
कहा जाता है निधिवन के सारी लताये गोपियाँ है जो एक दूसरे कि बाहों में बाहें डाले खड़ी है जब
अक्सर श्री गणेश की प्रतिमा लाने से पूर्व या घर में स्थापना से पूर्व यह सवाल सामने आता है कि
रमा नाम की एक स्त्री थी जो किसी गांव में रहती थी…5-6 बरस उसकी शादी को हो गए थे लेकिन
एक बार एक शिष्य ने विनम्रतापूर्वक अपने गुरु जी से पूछा – ‘गुरु जी,कुछ लोग कहते हैं कि जीवन एक
श्री रामचरितमानस के उत्तर काण्ड में वर्णित इस रूद्राष्टक की कथा कुछ इस प्रकार है। कागभुशुण्डि परम शिव भक्त थे।
श्री युगल संध्या गोपी-प्रेम बड़ा ही पवित्र है, इसमें अपना सर्वस्व अपने प्रियतम श्रीकृष्ण के चरणों में न्यौछावर कर देना
जब तक व्यक्ति के भीतर पाने की इच्छा शेष है, तब तक उसे दरिद्र ही समझना चाहिए। श्री सुदामा जी
आप छ महीने राम को भज कर देखो। मै लेखिका नहीं हूं मैंने बस मेरे अराध्य भगवान नाथ श्री राम
एक पक्षी था जो रेगिस्तान में रहता था, बहुत बीमार, कोई पंख नहीं, खाने-पीने के लिए कुछ नहीं, रहने के
जब जब वृन्दावन सुधि आवत ।हृदयाकाश विरहघन उमड़त असुवन धार नैन-भरि लावत ॥फड़क उठत प्रति रोम रोम तन, मति बौरात