माता सीता और प्रभु श्रीराम की परिणय वर्षगांठ विवाह पंचमी
आप सभी बंधुजनो, माताओं और बहनों सभी को माता सीता और प्रभु श्रीराम की परिणय वर्षगांठ विवाह पंचमी की हार्दिक
आप सभी बंधुजनो, माताओं और बहनों सभी को माता सीता और प्रभु श्रीराम की परिणय वर्षगांठ विवाह पंचमी की हार्दिक
जय जगन्नाथ एक बार तुलसीदास जी महाराज को किसी ने बताया की जगन्नाथ जी मैं तो साक्षात भगवान ही दर्शन
शिव और पार्वती के पुर्नमिलाप के उपलक्ष्य में मनाए जाने वाले हरियाली तीज के त्योहार के बारे में मान्यता है
जन गण मन-अधिनायक जय हे भारत भाग्यविधाता!पंजाब सिन्ध गुजरात मराठा द्राविड़ उत्कल बंगविन्ध्य हिमाचल यमुना गंगा उच्छलजलधितरंगतव शुभ नामे जागे,
राखी बांधत जसोदा मैया ।विविध सिंगार किये पटभूषणबधाबधाेत बलैयाहाथन लीये थार मुदित मन, कुमकुम अक्षत मांझ धरैया।तिलक करत आरती उतारत
लक्ष्मी जी ने सर्वप्रथम बलि को बांधी थी ! ये बात है जब दानबेन्द्र राजा बलि अश्वमेध यज्ञ करा रहे
हिंदू धर्म में चार धाम की यात्रा को अत्यंत पवित्र एवं महत्वपूर्ण माना गया है। इन्हीं चारों धामों में से
आधुनिक समय में जब सम्बंध धुधंलाते जा रहे हैं, ऐसे में भाई-बहन के पवित्र सम्बंध को मजबूत प्रेम पूर्ण आधार
श्रावण का प्रिय मास है। आकाश में काली घटाएँ छायी हुयी हैं। बिजली कड़क रही है। बादल भी जोर-जोर
राधा रानी झूला झूलें ओढ़े चुनर तारा री।श्याम झूले, हनुमत झूले, झूलें शंकर त्रिपुरारी, राधा रानी झूला झूलें ओढ़े चुनर